
जॉर्ज फ्लॉयड की मौत ऑक्सीजन की कमी से हुई थी। उनके परिवार की ओर से कराए गए निजी पोस्टमार्टम से ये पता चला है। अफ्रीकी मूल के अमरीकी नागरिक जॉर्ज फ्लॉयड की पुलिस के हाथों मौत के बाद से अमरीका में बड़े पैमाने पर हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं।
परिवार की ओर से जॉर्ज फ्लॉयड का पोस्टमार्टम करने वाले डॉक्टरों का कहना है कि ‘गले और कमर पर दबाव पड़ने’ की वजह से उनकी मौत हुई। मिनियापोलिस पुलिस के अधिकारी ने कई मिनट तक फ्लॉयड की गर्दन को घुटने से दबाए रखा था। परिवार की ओर से कराए गए इस पोस्टमार्ट के नतीजे सरकारी पोस्टमार्टम के नतीजों से अलग हैं।
काउंटी मेडिकल एग्ज़ामिनर की ओर से कराए गए पोस्टमार्टम में गला दबाए जाने या ऑक्सीजन की कमी होने की पुष्टि नहीं की गई थी। इसी बीच जॉर्ज फ्लॉयड की मौत के बाद शुरू हुए प्रदर्शन अमरीका के कई शहरों में फैल गए हैं। वॉशिंगटन में तो प्रदर्शनकारी व्हाइट हाउस के बाहर भी इकट्ठा हो गए।
प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर पथराव भी किया। लगातार छठे दिन अमरीका के कई शहरों में विरोध प्रदर्शन हुए और कई जगह काफ़ी हिंसा हुई। क़रीब 40 शहरों में कर्फ़्यू लगा दिया गया है, लेकिन लोगों ने इसकी अनदेखी की और सड़कों पर उतर आए। इस कारण तनाव काफी बढ़ गया है। न्यूयॉर्क, शिकागो, फिलाडेल्फिया और लॉस एंजेलेस में दंगा पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच संघर्ष हुआ।
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