
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के घर छापेमारी में इस्तेमाल किए गए सर्च वारंट को फ्लोरिडा के जज ने रद्द कर दिया। जानकारी के मुताबिक छापेमारी के दौरान परमाणु हथियारों से संबंधित ‘टॉप सीक्रेट’ दस्तावेज जब्त किए गए थे। ट्रंप जांच में जासूसी अधिनियम के संभावित उल्लंघन शामिल हैं। एएनआई के मुताबिक, बताया जा रहा है कि एफबीआई के हवाले से यह रिपोर्ट दी गई है।
हाल में अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के फ्लोरिडा स्थित आवास पर अमेरिकी संघीय जांच एजेंसी फेडरल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन (एफबीआई) ने परमाणु हथियारों से संबंधित दस्तावेजों की तलाशी के लिए छापेमारी की थी। इसकी सूचना द वॉशिंगटन पोस्ट अखबार की एक रिपोर्ट में दी गई। चर्चा थी कि अगर यह आरोप सही साबित हुआ तो ट्रंप की मुश्किलें बढ़ सकती हैं।
इस रिपोर्ट की न तो पुष्टि और न ही खंडन अमेरिकी न्याय विभाग, जो एफबीआई की देखरेख करता है और न ही जांच एजेंसी ने की थी। सरकारी अधिकारी इस बात को लेकर चिंता में है कि यह दस्तावेज ट्रंप के फ्लोरिडा स्थित घर पर गलत हाथों में पड़ सकते हैं। दावा किया जा रहा था कि ट्रंप ने इस दस्तावेजों को नई सरकार को नहीं सौंपा था। नेशनल आर्काइव, जहां इन दस्तावेजों को रखा जाता है। महीनों से उनके अधिकारी इन दस्तावेजों के लिए ट्रंप से बात कर रहे हैं।
वहीं डोनाल्ड ट्रंप के एफबीआई एजेंटों की इस छापेमारी को बदनाम करने की साजिश और राजनीतिक षंड्यत्र करार दिया। अमेरिकी मीडिया ने बताया कि, एफबीआई की तलाशी इस बात की जांच के सिलसिले में थी कि क्या डोनाल्ड ट्रंप वाइट हाउस से निकलते वक्त गोपनीय दस्तावेज भी अपने साथ लेकर गए थे। एफबीआई ने सोमवार को डोनाल्ड ट्रंप के निजी क्लब पर भी छापेमारी की थी।
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