
ईरान ने अमेरिका के साथ तनाव चरम पर होने के बीच बृहस्पतिवार को ओमान की खाड़ी में नौसैन्य अभ्यास के दौरान क्रूज मिसाइलें दागीं। देश के सरकारी टेलीविजन ने जमीन और पोतों से दागी गईं मिसाइलों की फुटेज दिखाई, लेकिन उनकी मारक क्षमता के बारे में कोई उल्लेख नहीं किया। बता दें कि कासिम सुलेमानी की हत्या के एक साल पूरे होने के बाद से ही अमेरिका और ईरान के बीच फिर से तनाव बढ़ गया है।
आक्रमण का जवाब क्रूज मिसाइलों से दिया जाएगा : ईरानी नौसैन्य अभ्यास से जुड़े प्रवक्ता एडमिरल हमजेह अली कावियानी ने कहा कि दुश्मन को पता होना चाहिए कि ईरानी सीमा के किसी भी उल्लंघन और इसपर किसी भी आक्रमण का जवाब तट और समुद्र दोनों से क्रूज मिसाइलों के जरिए दिया जाएगा।’’ ईरान का दो दिन का नौसैन्य अभ्यास बुधवार को शुरू हुआ था। क्रूज मिसाइलें ऐसे समय दागी गई हैं जब ईरान और अमेरिका के बीच तनाव लगातार चरम पर बना हुआ है।
ईरान के पास बना रहेगा अमेरिकी एयरक्राफ्ट कैरियर : अमेरिकी रक्षा मंत्रालय पेंटागन ने कहा है कि अमेरिकी विमानवाहक पोत यूएसएस निमित्ज पश्चिम एशिया के सागर में बना रहेगा क्योंकि अमेरिका को ईरान से हमला का सम्भावित खतरा है। अमेरिकी रक्षा मंत्रालय ने तीन दिन पहले कहा था कि 10 महीने से मध्य पूर्व के समंदर में तैनात यूएसएस निमित्ज को हटा लिया जाएगा लेकिन अब अमेरिका ने अपना रुख बदल लिया है।
पेंटागन के एक्टिंग डिफेंस सेकेरेट्री क्रिस मिलर ने कहा कि यूएसएस निमित्ज अब ऑपरेशन के एरिया में कायम रहेगा। अमेरिकी सरकार ने यह फैसला काफी सोच-विचार के बाद लिया है। अमेरिका का यह कदम ईरान द्वारा अपने मरहूम सैन्य प्रमुख कासिम सुलेमानी की पहली वर्षगांठ मनाने के बाद सामने आया है। 3 जनवरी, 2020 को सुलेमानी की हत्या बगदाद हवाई अड्डे के पास एक ड्रोन हमले से हुई थी।
ईरान बोला- हम अपने दुश्मनों को जवाब दे सकते हैं : ईरानी सेना के जनरल हुसैन सलामी ने तेहरान विश्वविद्यालय में पूर्व जनरल कासिम सुलेमानी की याद में आयोजित एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए अमेरिका पर जमकर निशाना साधा। सलामी ने अमेरिका का नाम लिये बगैर कहा कि आज हमें किसी भी शक्ति का सामना करने में कोई समस्या, चिंता या आशंका नहीं है। हम अपने दुश्मनों को युद्ध के मैदान में आखिरी जवाब दे सकते हैं।
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