
पाकिस्तान की मशहूर बेकरी चेन के एक कर्मचारी ने केक पर ‘मेरी क्रिसमस’ लिखने से इनकार कर दिया। इसके बाद जब सोशल मीडिया में उसके व्यवहार की आलोचना होने लगी तो बेकरी मैनेजमेंट ने पूरे मामले की जांच करने की घोषणा की है। इस बेकरी चेन ने इसके साथ ही स्पष्ट किया है कि वह धर्म के आधार पर भेदभाव नहीं करती।
बेकरी मैनेजमेंट कर रहा जांच : डीलेजिया बेकरी के प्रबंधन ने सोशल मीडिया पर कहा कि वह ग्राहक सेलेसिया नसीम खान नामक महिला ग्राहक द्वारा फेसबुक पोस्ट में लगाए गए आरोपों की जांच कर रही है। खान ने आरोप लगाया था कि उन्होंने कराची के डिफेंस हाउसिंग सोसाइटी की दुकान से केक लाई थीं लेकिन उसके कर्मचारी ने उस पर ‘मेरी क्रिसमस’ लिखने से इनकार कर दिया।
कर्मचारी बोला- मैं अधिकृत नहीं : कर्मचारी ने संभवत महिला ग्राहक से कहा कि वह यह लिखने के लिए अधिकृत नहीं है क्योंकि उसे किचन से इसका आदेश मिला है। इस घटना को लेकर सोशल मीडिया पर हंगामा देखने को मिला और कई लोगों ने घटना पर हैरानी और आक्रोश व्यक्त किया।
कंपनी बोली- हम धर्म-जाति का भेदभाव नहीं करते : बेकरी के प्रबंधन ने सफाई देते हुए कहा कि यह स्पष्ट तौर पर एक व्यक्ति का कृत्य है और हम धर्म और जाति के आधार पर भेदभाव नहीं करते हैं। इस समय हम उसके (आरोपी कर्मी) खिलाफ कार्रवाई कर रहे हैं। यह उसने व्यक्तिगत हैसियत से किया और यह कंपनी की नीति नहीं है। उल्लेखनीय है कि वर्ष 2018 में भी एक महिला को बेकरी के कर्मचारी ने ‘मेरी क्रिसमस’लिखा केक देने से इनकार कर दिया था और कहा था कि यह कंपनी का निर्देश है।
इमरान का रियासत-ए-मदीना यही है क्या? : पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान जब से सत्ता में आए हैं तब से पाकिस्तान में धार्मिक कट्टरता और ज्यादा बढ़ी है। ईशनिंदा के नाम पर हत्याएं, धर्म के नाम पर देश की विदेश नीति तय करने का दबाव बनाते कट्टरपंथी इसका प्रत्यक्ष उदाहरण हैं। इतना ही नहीं, इमरान खान खुद इन कट्टरपंथियों के आगे हमेशा घुटने टेकते आए हैं। अभी अक्टूबर में ही प्रतिबंधित कट्टरपंथी संगठन तहरीक-ए-लब्बैक पाकिस्तान के समर्थकों की हिंसा में पांच पुलिसकर्मियों की मौत हुई थी।
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