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मानसून में बढ़ा डायरिया का खतरा, ये 5 रामबाण उपाय अपनाकर खुद को रख सकते हैं हेल्दी


बरसात में डायरिया होने का खतरा बढ़ जाता है। डायरिया, एक पाचन संबंधी समस्या है, जिसमें मरीज को लूज और वॉटरी बॉवेल मूवमेंट होने लगते हैं। पेट संबंधी ये समस्या किसी भी मौसम में हो सकती है, लेकिन बसरात में इसके होने का खतरा अधिक बढ़ जाता है। बरसात के मौसम में डायरिया की संभावना इसलिए अधिक होती है। क्योंकि इस समय पानी और भोजन के दूषित होने का खतरा बढ़ जाता है। यह इंफेक्शन होने के बाद दो से तीन दिनों तक ज्यादा परेशान करती है।
डायरिया इंफेक्शन की वजह से होता है और यह स्थिति संक्रमण, खराब खान-पान या दूषित पानी पीने के कारण हो सकती है। डायरिया के होने पर इस तरह के लक्षण नजर आते हैं। जैसे कि बार-बार पानी जैसा पतला मल त्याग होना, पेट में मरोड़ और दर्द, मतली और उल्टी, बुखार,थकान और कमजोरी जैसे लक्षण नजर आते हैं। ऐसे में डायरिया के उपचार में घरेलू उपचार बहुत काम आते हैं।
ओआरएस – ओआरएस यानी कि ओरल रिहाइड्रेशन सॉल्यूशन लें। डायरिया के दौरान शरीर में पानी की कमी को पूरा करने के लिए ओआरएस का सेवन करें। इसे बनाने के लिए एक लीटर पानी में बिल्कुल थोड़ा सा नमक और छह से सात चम्मच चीनी मिलाएं।
केला – केला खाने से पेट में मरोड़ और डायरिया की समस्या में आराम मिल सकता है। केले का सेवन पेट को राहत देने के साथ शरीर में पोटेशियम की कमी पूरा करता है।
दही – स्वस्थ पेट के लिए आप दही का रोजाना सेवन करें। यह डायरिया होने से रोकेगा और यदि हो गया है तो यह ठीक करने में मदद करेगा। दही में प्रोबायोटिक्स होते हैं, जो पेट के स्वास्थ्य के लिए लाभदायक होते हैं।
अदरक का रस – अदरक का रस पीने से पेट दर्द और मरोड़ में राहत मिलती है। आप कम मात्रा में अदरक वाली चाय का रोजाना सेवन करें, इससे आपकी इम्यूनिटी स्ट्रॉन्ग होगी और आपका शरीर इंफेक्शन से लड़ सकेगा।