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बचा लो उसे… ‘आईसीसी चेयरमैन’ जय शाह की शरण में पहुंचे ऑस्ट्रेलिया के 2 बार के विश्व विजेता कोच


भारतीय क्रिकेट बोर्ड के सचिव जय शाह आईसीसी चेयरमैन चुने गए हैं। उन्हें ऑस्ट्रेलिया को दो बार विश्व विजेता बनाने वाले पूर्व कोच जॉन बुकानन ने जय शाह से खास निवेदन किया है। उन्होंने कहा कि उन्हें वनडे को बचाना चाहिए। यह टेस्ट और टी20 के बीच सेतु का काम करता है।
एक ओर जहां टेस्ट क्रिकेट को लेकर तमाम दिग्गज अपनी चिंता जाहिर कर चुके हैं तो दूसरी ओर ऑस्ट्रेलिया को दो बार विश्व चैंपियन बनाने वाले महान कोच का मानना है कि वनडे को बचाने की जरूरत है। इसे बचाने को लेकर उन्होंने आईसीसी चेयरमैन चुने गए जय शाह से निवेदन किया है। ऑस्ट्रेलिया के पूर्व मुख्य कोच जॉन बुकानन ने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) से क्रिकेट के दीर्घकालिक भविष्य के लिए ‘अच्छे फैसले’ लेने का आग्रह किया जिसकी अगुआई जल्द ही भारतीय क्रिकेट बोर्ड (बीसीसीआई) के सचिव जय शाह करेंगे। 35 वर्षीय शाह एक दिसंबर को कार्यभार संभालने के बाद वैश्विक संचालन संस्था के सबसे युवा चेयरमैन बन जाएंगे।
टेस्ट क्रिकेट में दो बार विश्व रिकॉर्ड लगातार 16 जीत और 2003 तथा 2007 में वनडे विश्व कप जीत के दौरान ऑस्ट्रेलियाई के कोच रहे बुकानन ने कहा कि आईसीसी को टी20 लीग की बढ़ती संख्या से जुड़ी चिंताओं का समाधान निकालने की जरूरत है। बुकानन ने यहां एक कार्यक्रम के दौरान कहा, ‘अब जब जय शाह आईसीसी के प्रमुख बन गए हैं तो यह बेहद महत्वपूर्ण है कि आईसीसी खेल के लिए कुछ बहुत अच्छे दीर्घकालिक निर्णय ले।’
उन्होंने कहा, ‘हम टी20 लीग, टी10 लीग, (द) हंड्रेड्स और इसी तरह की अन्य लीग का प्रसार देख रहे हैं… वास्तविकता यह है कि यही खेल का भविष्य है। आज हम जिन युवा बच्चों से बात कर रहे हैं, वे खेल के इस छोटे प्रारूप से प्रेरित होंगे और इसे खेलना पसंद करेंगे।’ बुकानन ने हालांकि टेस्ट क्रिकेट के महत्व पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा, ‘खेल टेस्ट क्रिकेट के इर्द-गिर्द खड़ा हुआ है। यही खेल का असली सार है। आईसीसी को कुछ अच्छे निर्णय लेने के लिए, उन्हें इस बात का बहुत ध्यान रखना होगा कि वे कितनी लीग को मंजूरी देते हैं, जिसका मतलब है कि ऐसा करने से खिलाड़ियों को आकर्षित करने वाली लीग की संख्या सीमित हो जाएगी।’
बुकानन ने कहा कि आईसीसी को वनडे प्रारूप को प्रासंगिक बनाए रखने का तरीका खोजना होगा क्योंकि यह टेस्ट और टी20 के बीच सेतु का काम करता है। उन्होंने कहा, ‘टेस्ट क्रिकेट वास्तव में महत्वपूर्ण है। हमारे पास छोटे प्रारूप का प्रसार हो रहा है। हमें बीच के प्रारूप को बनाए रखने की जरूरत है जो कि वनडे मुकाबले हैं।’ बुकानन ने कहा, ‘खिलाड़ियों के लिए केवल दो प्रारूपों, यानी छोटे प्रारूप और लंबे प्रारूप के साथ स्तरीय क्रिकेट खेलना बहुत मुश्किल है। हमें 50 ओवर के प्रारूप की भी जरूरत है।’