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शनि-मंगल का छूटा साथ: जीवन में जुड़ेंगे नए अध्याय, रहें सावधान

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शनि व मंगल दोनों ही पाप ग्रहों में से एक हैं। दोनों ही परस्पर शत्रुता भी रखते हैं। अतः जहां कहीं भी यह साथ हो जीवन को कष्टकर बनाते ही हैं। कुंडली में इनका मिलन शुभता का नाश कर व्यक्ति को परेशानियों में डाल देता है। जहां एक ओर मंगल उग्र, क्रोधी, तामसिक प्रकृति वाले माने जाते हैं। वहीं दूसरी ओर शनि दुर्भाग्य, बाधा, व दीर्घगामी माने जाते हैं। शनि-मंगल का मिलन जीवन में आकस्मिकता का समावेश कर देता है। वैवाहिक जीवन, नौकरी, व्यवसाय, संतान, गृह सुख, इनसे संबंधित शुभ-अशुभ घटनाएं जीवन में अचानक घटती हैं। अचानक विवाह जुड़ना, अचानक प्रमोशन, बिना कारण घर बदलना, नौकरी छूटना, कार्यस्थल या शहर-देश से पलायन आदि शनि-मंगल युति के आकस्मिक परिणाम होते हैं।

मंगल ने शनिवार दिनांक 20.02.16 को शाम 05 बजकर 06 मिनट मिनट पर तुला राशि से वृश्चिक राशि में प्रवेश किया था। लगभग आठ महीने तक मंगल वृश्चिक से तुला पुनः तुला से वृश्चिक में वक्र और मार्गीय गति से गोचर होता रहा, इसी के साथ ही शनि और मंगल का मेल द्वंद योग के रूप में जारी रहा। अंततः मंगल और शनि का साथ रविवार दिनांक 18.09.16 प्रातः 8 बजकर 2 मिनट पर छूट रहा है इसी के साथ ही मंगल वृश्चिक राशि को त्यागकर धनु में प्रवेश कर रहा है। मंगल लगभग 43 दिन तक धनु राशि में गोचर करेगा। इसके बाद मंगलवार दिनांक 01.11.16 को प्रातः 08 बजकर 55 मिनट पर मकर राशि में प्रवेश करेगा। इसी के साथ ही संसार को शनि मंगल की युति से बन रहे द्वंद योग से मुक्ति मिलेगी।

आइए जानते हैं 12 राशियों पर मंगल के धनु राशि गोचर से शुभाशुभ प्रभाव

मेष: शुभ फल मिलेगा। परिश्रम का खूब लाभ मिलेगा। शत्रु पराजित होंगे। यात्राओं से धन लाभ होगा। मित्रों से लाभ मिलेगा। पैतृक संपत्ति से लाभ के योग हैं।

वृष: दुर्घटना की संभावना है। दांपत्य में कष्ट आएगा। संबन्धों में दरार आएगी। शत्रु पर विजय मिलेगी। भाइयों से द्वेष रहेगा। धन व पराक्रम में वृद्धि होगी।

मिथुन: दांपत्य में तनाव रहेगा। जीवनसाथी को कष्ट होगा। जायदाद से लाभ होगा। उच्च अधिकारीयों का सहयोग मिलेगा। सामाजिक कार्यों में सफलता मिलेगी।

कर्क: स्वभाव उग्र रहेगा। रोगों का उपचार होगा। शत्रु परास्त होंगे। कर्जे खत्म होंगे। पदोन्नति के योग हैं। कम परिश्रम भी लाभ देगा। संतान को कष्ट होंगे।

सिंह: सुविधाएं बढ़ेंगी। शिक्षा में सफलता मिलेगी। संतान का भाग्य चमकेगा। बौद्धिक क्षमता बढ़ेगी। कुटनीतिक मामले सफल होंगे। आवेश पर नियंत्रण जरूरी है।

कन्या: भूमि से लाभ होगा। दांपत्य कलहपूर्ण रहेगा। पार्टनर से वैचारिक मतभेद बढ़ेंगे। पारिवारिक क्लेश के योग हैं। अहंकार में वृद्धि होगी। बड़े निवेश से बचें।

तुला: संतान को कष्ट होगा। शत्रु परास्त होंगे। मन में सिद्धांतवादी विचार आएंगे। भय से मुक्ति मिलेगी। पराक्रम बहुत बढ़ा रहेगा। भाई-बहन को कष्ट होंगे।

वृश्चिक: परिश्रम से आय बढ़ेगी। विदेश से लाभ मिलेगा। वाणी में कटुता रहेगी। विवादों में जीत मिलेगी। प्रतियोगिता में सफल रहेंगे। शासन से भय रहेगा।

धनु: बौधिक क्षमता बढ़ेगी। पार्टनर को शारीरिक कष्ट होगा। विवाह में विलंब होगा। वाद-विवाद बढ़ेंगे। माता का स्वास्थ्य परेशान करेगा। उत्तेजना बढ़ी रहेगी।

मकर: अनावश्यक यात्राएं होंगी। व्यसन के आदि हो सकते हैं। अनावश्यक जगह खर्च होगा। दांपत्य में तनाव रहेगा। आलस्य अधिक रहेगा। गुप्त शत्रु बढ़ेगे।

कुंभ: व्यापारिक सफलता मिलेगी। वाणी में कटुता आएगी। भाई-बहन काम में हाथ बटाएंगे। मित्र सहयोग करेंगे। वैवाहिक जीवन भी अत्यधिक शुभ रहेगा।

मीन: चौमुखी विकास होगा। पैतृक संपत्ति मिलने के योग हैं। नए वाहन के संग पदोन्नति के योग हैं। संतान को कष्ट होगा। सफलता देर से मिलेगी।

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