
ईरान के मौसम विभाग के अधिकारियों ने कहा है कि अगले 10 दिनों तक बारिश की कोई संभावना नहीं है। जबकि राजधानी तेहरान में जल संकट अब गंभीर स्थिति में पहुंच चुका है। अधिकारियों ने अत्यधिक पानी की खपत करने वाले घरों और व्यवसायों पर जुर्माना लगाने की योजना की भी घोषणा की है।
भारत का दोस्त इस्लामिक देश ईरान खतरनाक सूखे के संकट का सामना कर रहा है। खासकर राजधानी तेहरान में स्थिति अभूतपूर्व है। देश में रिकॉर्ड स्तर पर कम बारिश हुई है और ज्यादातर जलाशय सूख चुके हैं। संकट स्थिति ज्यादा बढ़ गई है कि अधिकारी, नागरिकों से पानी बचाने की अपील कर रहे हैं। वहीं, देश के एक सांसद ने महिलाओं पर दोष मढ़ा है। सांसद ने कहा है कि महिलाएं हिजाब नहीं पहनती हैं, इसलिए देश में सूखा लाकर अल्लाह चेतावनी दे रहे हैं।
दूसरी तरफ, बीबीसी की रिपोर्ट के मुताबिक, राष्ट्रपति मसूद पेजेशकियन ने चेतावनी दी है कि अगर जल्द ही पर्याप्त बारिश नहीं हुई, तो तेहरान की जल आपूर्ति को सीमित किया जा सकता है। लेकिन उन्होंने कहा कि किसी भी आपदा को रोकने के लिए राशन की सप्लाई भी पर्याप्त नहीं हो सकती है। पेजेशकियन ने कहा, “अगर राशनिंग काम नहीं करती है, तो हमें तेहरान खाली करना पड़ सकता है।” हालांकि, राष्ट्रपति की इस टिप्पणी की ईरानी अखबारों और सोशल मीडिया पर आलोचना भी हो रही है। जबकि, तेहरान के पूर्व मेयर गुलाम हुसैन करबास्ची ने इस विचार को “मजाक” बताया और कहा कि “तेहरान को खाली करने का कोई मतलब नहीं है।”
Home / News / इस्लामिक देश ईरान में भीषण सूखा, राष्ट्रपति ने कहा- राजधानी करना पड़ सकता है खाली, सांसद ने महिलाओं पर मढ़ा दोष
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