
खुफिया सेवाओं ने आतंकवादी संगठन ISIS के नए सरगना की पहचान आमिर मोहम्मद अब्दुल रहमान अल मवली अल-सल्बी के रूप में की है। समाचार पत्र ‘द गार्जियन’ ने अपनी एक रिपोर्ट में दो खुफिया सेवाओं के अधिकारियों के हवाले से बताया कि वह ISIS के संस्थापकों में से एक है और इराक में यजीदी अल्पसंख्यों पर अत्याचार की पूरी गतिविधि को उसी की अगुवाई में अंजाम दिया गया था। इसके अलावा दुनिया भर में आतंक की कोई भी घटना उसी की देखरेख में होती थी।
गौरतलब है कि अक्टूबर में विशेष अमेरिकी बलों के हमले में ISIS सरगना अबु बकर अल बगदादी के मारे जाने के बाद संगठन ने अपने सरगना के रूप में अबु इब्राहिम अल हाशिमी अल कुरैशी के नाम का प्रस्ताव दिया था। जानकारों का कहना है कि बगदादी को मौत के घाट उतारे जाने के बाद ISIS कोई भी बड़ा खतरा नहीं उठाना चाहता है। यही कारण है कि उनके नए सरगना के बारे में कोई भी जानकारी पुख्ता तौर पर कहीं भी मौजूद नहीं है। गार्जियन की रिपोर्ट के मुताबिक बगदादी के मारे जाने के कुछ ही घंटों के भीतर सल्बी को नया सरगना चुन लिया गया था।
जानें कौन है अल-सल्बी?
रिपोर्ट में कहा गया कि सल्बी का जन्म इराक के ताल अफरा शहर के तुर्कमेन परिवार में हुआ था। उसने मोसुल विश्विद्यालय से शरिया कानून में डिग्री ली है। इसके अनुसार 2004 में उसे अमेरिकी बलों ने कैंप बूका कारागार में बंद किया था वहीं उसकी मुलाकात बगदादी से हुई थी। पिछले साल अक्टूबर में अमेरिकी सेना के विशेष बलों के हमले में आईएस सरगना अबु बकर अल बगदादी मारा गया था। इसके बाद ISIS ने नए सरगना के तौर पर अबु इब्राहिम अल हाशिमी अल कुरैशी के नाम का प्रस्ताव दिया था। हालांकि, गार्जियन की रिपोर्ट में कहा गया है कि कुरैशी एक फर्जी नाम है जिसकी अन्य सरगनाओं साथ साथ खुफिया एजेंसियों ने भी पुष्टि नहीं की हैं।
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