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पापा! जल्दी आइए, बहुत जोर का झटका है… भूकंप के बाद खौफ में कटी दिल्ली-नोएडा वालों की रात


मैंने तो महसूस कर ही लिया था। 10 बजकर 20 मिनट के करीब हुए थे। तब पलंग पर रीडिंग टेबल लेकर बैठा था। लैपटॉप पर खबरें खंगाल रहा था। दूसरी तरफ पत्नी बैठी थीं। वो भी मोबाइल स्क्रॉल कर रही थीं। हॉल में बेटी पढ़ रही थी। दूसरे कमरे में बेटे की भी पढ़ाई चल रही थी। पलंग हिलने लगा। कुछ बोल पाता, उससे पहले बेटी चीख पड़ी- पापा! जल्दी बाहर आइए। मम्मी! भागिए ना। मैंने पत्नी से कहा- चलो, चलो। तब तक बेटी अपने भाई के साथ दरवाजा खोलकर निकल चुकी थी। बिल्डिंग के फर्स्ट फ्लोर में मेरा फ्लैट है। बाकी दोनों फ्लैट्स के लोग भी सीढ़ियों के पास आ गए थे। मेरी पत्नी बोली- अरे! यहां क्या कर रहे हैं, जल्दी नीचे चलिए। पार्क में। तब तक दूसरा झटका आ गया। हम सीढ़ियों से नीचे भागे। पार्क में लोगों का हुजूम उमड़ चुका था। हां, बता दें- पूर्वी दिल्ली के मयूर विहार फेस 2 में जहां रहता हूं, वहां बगल में ही पार्क है।
हम सब पार्क पहुंचे। सेकंड, थर्ड और फोर्थ फ्लोर वाले भी भागे-भागे आए। कुछ उलझन में रहे। वो फ्लैट से निकलकर सीढ़ियों के पास आए तो, लेकिन नीचे नहीं उतरे। हम जब पार्क से लौटे तो वो आपस में बातचीत कर रहे थे। हर किसी को कुछ कहना था, इसलिए शोर ज्यादा हो रही थी। बातचीत कम। एक ने मुझसे पूछा- आप कब नीचे उतर गए। मैंने कहा- भाई, आप मुझसे ऊपर रहते है। तो आपको उतरने में मुझसे ज्यादा वक्त लगेगा ना। मैं आपसे कुछ सेकंड पहले निकल गया था। बोले- भाई साहब! बहुत जबर्दस्त था इस बार। तब तक मेरी पत्नी भी उनकी पत्नी से बातें करने लगीं। सुना, वो भी आपस में बोल रही थीं- दीदी! इस बार तो डर ही गई थी। बाबू तो रोने लगा था। गोद में बच्चे पर नजर पड़ी तो चेहरे पर खौफ साफ झलक रहा था। वो मां से चिपका हुआ था। मानो उसे कोई गोद से उतारने को उतारू हो और वो मां को छोड़ने को बिल्कुल तैयार नहीं। फिर थोड़ी देर बात हुई और आ गए फ्लैट के अंदर।
पत्नी बोलीं- अरे, गांव में मम्मी-पापा से पूछिए ना। वहां भी तो भूकंप नहीं आया? दक्षिणी बिहार के आखिरी जिले जमुई में अपने गांव फोन किया। भाई से बात हुई। पूछा वहां कुछ हुआ क्या? क्या हुआ? भाई ने पूछा। मैंने कहा- यहां भूकंप का तेज झटका महसूस हुआ। अच्छा! सब ठीक ना, कोई नुकसान तो नहीं हुआ? भाई चिंतित हो उठा। मैंने कहा- सब ठीक है, कोई नुकसान नहीं हुआ, लेकिन झटका बहुत तेज है। अभी जब खबर लिखने को हुआ तो मां का फोन आ गया। पूछ रही थीं, सब ठीक है ना बेटा? मैंने कहा सब ठीक है, बस तेज झटका महसूस हुआ था। मां बोलीं, कब? बताया- करीब 10.20 बजे। मां बोलीं- भगवान से यही प्रार्थना करती रहती हूं, बच्चे बाहर हैं, सबकी रक्षा करना। फिर पूछीं- ऑफिस में हो? मैंने कहा- हां मां। बोलीं- चलो तब, बाद में बात करेंगे। अभी काम करो। ये बातें लिख रहा हूं, तब तक ऑफिस में हर साथी अपना-अपना अनुभव बता रहा है। पाकिस्तान के एक न्यूज चैनल के वायरल वीडियो पर चर्चा हो रही है।
हाई राइज बिल्डिगों में पसरा खौफ – बहरहाल, अफगानिस्तान के हिंदूकुश से उठा यह जलजला, था तो बहुत जबर्दस्त। लेकिन भारत में कोई नुकसान नहीं हुआ। पंजाब, हरियाणा, दिल्ली और आसपास के क्षेत्रों (एनसीआर) में तेज झटके महसूस हुए। हाई राइज बिल्डिंग वालों को तो लगा जैसे बिल्डिंग झूला बन गया हो और वो बिल्डिंग में झूल रहे हों। नोएडा सेक्टर 70 के पैन ओसिस सोसायटी में रहने वाले पंकज ने कहा, ‘हम 16वें फ्लोर पर रहते हैं। पत्नी किचन में थीं, तभी सारी चीजें हिलने लगीं। सबलोग घबरा गए। पूरा परिवार सीढ़ियों की तरफ भागा।’ दिल्ली में मालवीय नगर के हसन खान कहते हैं, ‘पहले मैं समझ नहीं पाया, फिर अहसास हुआ कि भूकंप है। बहुत भयावह मंजर था। टेबल पर रखा बोतल हिलने लगा। मैं टीवी देख रहीं अपनी अम्मी की तरफ भागा। हम बिल्डिंग से नीचे आए। आसपास के सभी लोग सड़क पर जमा हो चुके थे।’ प्रियंका नोएडा के गौड़ सिटी में रहती हैं। सोने से पहले दूध पीने जा रही थीं। तभी भूकंप आ गया। वो बताती हैं, ‘जब हिलने का अहसास हुआ तो मुझे लगा कि चक्कर आ रहा है। कुछ सेकंड बाद पता चला कि भूकंप का झटका है।’
पाकिस्तान में 11 मौतें — करीब 30 सेकंड तक धरती कांपी। राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र (NCS) ने बताया कि भूकंप की तीव्रता रिक्टर पैमाने पर 6.6 मापी गई। दिल्ली से दक्षिण पूर्व में 133 किमी दूर अफगानिस्तान के फैजाबाद में इसका केंद्र जमीन के 156 किमी नीचे था। पाकिस्तान में 11 लोगों की मौत की खबर है। ज्यादा दूरी के कारण ही भारत में कोई नुकसान नहीं हुआ, लेकिन बहुत से लोग रातभर डरे हुए रहे। पूर्वी दिल्ली के शकरपुर में एक बिल्डिंग थोड़ा झुक लगा। एक व्यक्ति ने फायर डिपार्टमेंट से मदद मांगी। फिर पता चला कि बिल्डिंग के पड़ोस वाले किसी व्यक्ति ने कॉल की थी। उसे लगा कि सामने वाली बिल्डिंग झुक गई है। हालांकि, ऐसा कुछ था नहीं। बहरहाल, चर्चा अब भी जारी है। इस बात पर सभी सहमत हैं कि भूकंप बहुत तेज था।