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OIC को भारत की दो टूक, कहा- भारत के आंतरिक मामले में बोलने का कोई हक नहीं


पड़ोसी मुल्क पाकिस्तान अपनी हरकतों से बाज नहीं आता। कई बार अंतरराष्ट्रीय स्तर में अपनी भद पिटवा चुकने के बाद भी कश्मीर मुद्दे का राग अलापना नहीं छोड़ता। पाकिस्तान ने दावा किया था कि इस्लामिक देशों के संगठन इस्लामिक सहयोग संगठन (OIC)ने कश्मीर को लेकर प्रस्ताव पास किया है। जिसको भारतीय विदेश मंत्रालय ने सिरे से खारिज कर दिया है। दरअसल, 27-29 नवंबर को नाइजर के नियामी में हुई
एमईए का सख्त बयान : मंत्रालय की ओर से जारी बयान में कहा गया कि हम 27-28 नवंबर को नाइजीरियाई नाइजर में 47 वें सीएफएम सत्र में इस्लामिक सहयोग संगठन (OIC) के संगठन में पास प्रस्तावों को भारत सिरे से खारिज करता है। विदेश मंत्रालय ने कहा कि पाकिस्तान पर परोक्ष प्रहार करते हुए कहा कि यह अफसोसजनक है कि OIC खुद को एक देश द्वारा उपयोग करने की अनुमति देता है जिसका खुद धार्मिक सहिष्णुता, कट्टरपंथ और अल्पसंख्यकों के उत्पीड़न पर खराब रिकॉर्ड है।
पाकिस्तान का दावा : दरअसल पाकिस्तानी विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने दावा किया था कि शनिवार को नाइजर की राजधानी नीमी में ओआईसी विदेश मंत्रियों की बैठक में कश्मीर को लेकर एक प्रस्ताव पारित किया गया है। पाकिस्तान ने ओआईसी के सदस्य देशों के विदेश मंत्रियों की बैठक में कश्मीर को लेकर पारित किए गए झूठे प्रस्ताव को अपनी जीत करार दिया था।
पाकिस्तान का झूठ बेनकाब : पाकिस्तानी विदेश कार्यालय ने तो इस झूठे प्रस्ताव को लेकर ट्वीट कर जानकारी दी थी। इस ट्वीट में दावा किया गया था कि जम्मू-कश्मीर विवाद को नीमी घोषणा में शामिल करना विदेश मंत्रियों की परिषद रिणाम दस्तावेजों का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। यह कश्मीर को लेकर ओआईसी के समर्थन की महत्वपूर्ण अभिव्यक्ति है।
ओआईसी ने किया खारिज : हालांकि, जिस प्रस्ताव को लेकर पाकिस्तान के विदेश मंत्री खुशी से झूम रहे थे, उसे ओआईसी ने खारिज कर दिया। ओआईसी ने कश्मीर को एक अलग आइटम के रूप में इस्लामिक देशों की बैठक में चर्चा करने से साफ इनकार कर दिया। इसके बाद से पाकिस्तान में ही नहीं बल्कि कुरैशी की पूरी दुनिया में झूठ बोलने को लेकर जग हंसाई हुई।