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एस्टेरॉयड 2024 YR4 क्या पृथ्वी के लिए खतरा? नासा के महाशक्तिशाली टेलिस्कोप ने गड़ाई नजर, भारत में भी टक्कर की आशंका


नासा का महाशक्तिशाली जेम्स वेब टेलिस्कोप इस समय खतरनाक एस्टेरॉयड के ऊपर नजर रख रहा है। यह एस्टेरॉयड धरती के लिए खतरा बताया जा रहा है, जो 2032 में करीब से गुजरने वाला है। इसके धरती से टकराने पर तबाही मच सकती है। भारत भी इसके संभावित असर वाले क्षेत्र में है।
नासा की महाशक्तिशाली अंतरिक्ष दूरबीन जेम्स वेब टेलिस्कोप की नजरें इस समय सौर मंडल के सबसे खतरनाक एस्टेरॉयड के ऊपर बनी हुई हैं। यूरोपीय अंतरिक्ष एजेंसी (ESA) ने अपने एक ब्लॉग में बताया है कि खगोलविदों की अंतरराष्ट्रीय टीम को आने शक्तिशाली जेम्स वेब टेलिस्कोप के आपातकालीन उपयोग अनुमति दी गई है। इसका उद्येश्य आने वाले महीनों में संभावित खतरनाक क्षुद्रग्रह (Asteroid) 2024 YR4 का निरीक्षण करना है। वैज्ञानिकों ने दिसम्बर 2032 में इसके पृथ्वी से टकराने की 2.3 प्रतिशत संभावना जताई है। इसका असर भारत पर भी हो सकता है।
2024 में पहली बार देखा गया – विशाल इमारत के आकार का इस एस्टेरॉयड को अमेरिकी स्पेस एजेंसी NASA ने दिसम्बर 2024 में हमारे सौरमंडल से गुजरते हुए देखा था। वर्तमान में यह नासा की निगरानी सूची में सबसे ऊपर है। खगोलविदों का अनुमान है कि क्षुद्रग्रह लगभग 180 फीट (50 मीटर) चौड़ा है। स्पेस डॉट कॉम के अनुसार, इस आकार के एस्टेरॉयड के टकराने से एक शहर भर के क्षेत्र में तबाही मच सकती है। साल 1908 में इसी आकार का एक क्षुद्रग्रह साइबेरिया के जंगल में तबाही मचाई थी, जब 8 करोड़ पेड़ नष्ट हो गए थे।
हालांकि, एस्टेरॉयड 2024 YR4 के वर्तमान आकार का अनुमान केवल ग्राउंड-टेलिस्कोप डेटा के आधार पर लगाया गया है। पृथ्वी के वायुमंडल में दबे होने के कारण ये दूरबीनें क्षुद्रग्रह की सतह से परावर्तित प्रकाश को ही देख पाती हैं, जो वास्तविक आकार की सीमित तस्वीर ही पेश करता है। अंतरिक्ष में चट्टान जितना दिखने वाला ये एस्टेरॉयड, वास्तव में उससे कहीं ज्यादा बड़ा हो सकता है।
वास्तविक आकार पता लगाने की कोशिश – सोमवार को शेयर किए गए ईएसए के ब्लॉग में कहा गया है कि सामान्य तौर पर क्षुद्रग्रह जितना चमकीला होता है, वह उतना ही बड़ा होता है, लेकिन यह संबंध इस बात पर बहुत हद तक निर्भर करता है कि एस्टेरॉयड की सतह कितनी परावर्तक (रिफ्लेक्टिव) है। इसमें कहा गया कि 2024 YR4 40 मीटर चौड़ा और बहुत परावर्तक हो सकता है या 90 मीटर चौड़ा और बहुत रिफ्लेक्टिव नहीं हो सकता है। आगे कहा गया कि यह बहुत महत्वपूर्ण है कि हम 2024 YR4 के लिए अपने आकार के अनुमान में सुधार करें: 40 मीटर के क्षुद्रग्रह का खतरा 90 मीटर के क्षुद्रग्रह से बहुत अलग है।
भारत में हो सकती है टक्कर – एस्टेरॉयड 2024 YR4 पृथ्वी से किस जगह टकराएगा, यह अभी भी अप्रत्याशित है। वर्तमान अनुमानों से पता चलता है कि यह 2032 में पृथ्वी के 127,699 किलोमीटर के भीतर से गुजरेगा, जिसमें अनिश्चितता का अंतर 14 लाख किलोमीटर तक फैला हुआ है। इसका मतलब है कि संभावित प्रभाव क्षेत्रों में प्रशांत महासागर से लेकर दक्षिण अमेरिका, अटलांटिक महासागर, मध्य अफ्रीका और उत्तरी भारत के कुछ हिस्सों तक के विशाल क्षेत्र शामिल हैं।